एक प्रयास -----
----
- सरहद' रेस्टोरेंट जो 'इस पार' और 'उस पार' की साझा पंजाबी
- तहज़ीब की जीती जागती धरोहर के रूप में खड़ा है.
- 'सरहद' रेस्टोरेंट अमृतसर से 28 किलोमीटर की दूरी पर है
- जबकि ये लाहौर से ज़्यादा क़रीब है.
- लाहौर से सरहद रेस्टोरेंट की दूरी 22 किलोमीटर है.
- इसका नक्शा और वास्तुकला पाकिस्तान के
- पंजाब प्रांत के लाहौर की जामा मस्जिद जैसी है,
- जबकि इसके फ़र्श में जिन टाइलों का इस्तेमाल किया गया है
- वो अमृतसर के स्वर्ण मंदिर में इस्तेमाल की गईं टाइलों जैसी है.
- यहां बावर्चीखाने की दीवारों पर पकिस्तान की 'ट्रक हस्तकला' का इस्तेमाल किया गया है.
- लाहौर के रहने वाले नामी कलाकार हैदर अली ने ख़ुद यहां आकर इन्हें बनाया है.
- उनका उद्देश्य दोनों तरफ़ की पंजाबियत को प्रोत्साहित करना है.
- और 'सरहद' में विभाजन के पहले के अख़बार भी लगाए गए हैं
- जिससे अविभाजित भारत के इस इलाक़े के बारे में महत्वपूर्ण ख़बरें पढ़ने को मिलती हैं.
- यहां पर 'लाहोरिया' व्यंजन या फिर पकिस्तान के
- पंजाब के व्यंजन काफ़ी लोकप्रिय हैं.
- इन व्यंजनों में इस्तेमाल होने वाले मसाले भी लाहौर से ही मंगाए जाते हैं.
- पकवानों का एक ऐसा ठिकाना बन गया है
- जहां अब दूर दूर से लोग आने लगे हैं.
- डिजाइनरों के तैयार किए गए कपड़ों को भी यहाँ रखा गया है.
- वो सिर्फ़ एक ढाबा नहीं बल्कि 'अमन का एक संग्रहालय' बनाना चाहते हैं.
No comments:
Post a Comment
आपके आगमन पर आपका स्वागत है .......
आपके विचार हमारे लिए अनमोल है .............